आंतरिक जल प्रवाह वाली नदियाँ
1. घग्घर नदी –
· उद्गम हिमाचल प्रदेश कालका की पहाड़ियों
से (शिवालिक श्रेणियों)
· प्रवाह – हिमाचल प्रदेश, हरियाणा,
राजस्थान
· राजस्थान में प्रवेश – हनुमानगढ़ जिले के
टिब्बी के पास तलवाड़ा गाँव में प्रवेश।
· समापन – सूरतगढ़ फिर अनूपगढ़ व यदि आगे
बाढ़ का पानी आ जाए तो पाकिस्तान फोर्ट अब्बास (वहावलपुर) तक चला जाता है। वहां इस
नदी के प्रवाह को ‘हकरा’ के नाम से जाना जाता है।
· सरस्वती व दृषद्वती प्राचीन काल में दो
नदियाँ थी।सरस्वती नदी विलुप्त हो चुकी है व दृषद्वती (घग्घर) वर्तमान में बह रही
है।
· वर्तमान में इसका नाम – मृत नदी
· घग्घर नदी का पाट क्षेत्र नाली कहलाता
है।
· इस नदी में हरियाणा में ओटू झील (सिरसा)
है
2. साबी नदी –
· उद्गम – सेवर (जयपुर) साईंवाड (त्रिवेणी
धाम) की पहाड़ियों से निकलकर सीकर जिले में जाकर वापस जयपुर जिले में N.H. 8 से
होती हुई कोटपुतली, बानसूर, बहरोड, मंडावर, तिजारा, किशनगढ़ से होती हुई हरियाणा के
पाटोदी गाँव में विलुप्त हो जाती है।
· प्रवाह – जिले- जयपुर, सीकर, अलवर राज्य
– राजस्थान व हरियाणा में
· सहायक नदी – सोता नाला (कोटपुतली तहसील)
· अकबर बांधी न बंधू ना रेवाड़ी जाऊ।
· कोट तळाकर निकळू साबी नाम कहाऊँ।
3. कांटली नदी –
· उद्गम – खण्डेला गाँव की पहाड़ियों से सीकर
जिले में। यह झुंझुनू जिले को दो भागों में काटती है अत: इसे कांटली कहा जाता है।
· समापन – चुरू झुंझुनू की सीमा पर
· प्रवाह – सीकर व झुंझुनू
· प्राचीनकाल में गणेश्वर सभ्यता का विकाश
इसी नदी के उपात्यक क्षेत्र में हुआ।
4. काकनेय / काकनी / मसूरदी –
· उद्गम – जैसलमेर शहर के उत्तर में कोटड़ी
गाँव से
· समापन – बुझ झील (जैसलमेर के दक्षिण में
स्थित
· मीठे पानी की नदी (मौसमी नदी)
· स्थानीय भाषा में इसे मसूरदी नदी भी
कहते है
5. द्रव्यवती नदी –
· उद्गम – जयपुर शहर क्र नाहरगढ़ की
पहाड़ियों में आथूनी कुण्ड से निकलती है।
· प्रवाह – जयपुर शहर के बीच में बहती है।
· समापन – कानोता बांध में मिल जाती है।
6. मेन्था नदी –
· उद्गम – जयपुर जिले की मनोहर पहाड़ियों
से
· प्रवाह – जयपुर, सीकर, नागौर।
· समापन – सांभर झील
7. रुपारैल नदी (वाराह नदी) –
· उद्गम – अलवर, सरिस्का के आगे उदयनाथ की
पहाड़ियों से
· प्रवाह – अलवर व भरतपुर
· विलुप्त – कुशलपुर गाँव (भरतपुर)
· प्राचीन रियासती शासन में अलवर, भरतपुर
रियासतों में इसी नदी को लेकर विवाद था।
8. रूपनगढ़ नाला –
· उद्गम – नाग पहाड़ (अजमेर)
· प्रवाह – अजमेर व जयपुर
· समापन – सांभर झील
9. खारी व खंडेल नदी –
जयपुर की
आस-पास की पहाड़ियों से निकलती है तथा सांभर झील में आकर इन दोनों का समापन हो जाता
है
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